GGSIPU Service Bond Policy: गुरु गोविंद सिंह इंद्रप्रस्थ विश्वविद्यालय (GGSIPU) ने दिल्ली के मेडिकल कॉलेजों में एमबीबीएस और पीजी (MD/MS/DM/MCh) पाठ्यक्रमों में दाखिला लेने वाले छात्रों के लिए एक साल की अनिवार्य सेवा बांड नीति लागू करने की घोषणा की है। यह नियम 2025-26 के शैक्षणिक सत्र से लागू होगा और इसमें अखिल भारतीय कोटा (AIQ) और राज्य कोटा दोनों के छात्र शामिल होंगे।
GGSIPU द्वारा जारी अधिसूचना के अनुसार, एमबीबीएस छात्रों को ₹15 लाख और पीजी छात्रों को ₹20 लाख का सेवा बांड दाखिले के समय जमा करना होगा। यदि कोई छात्र कोर्स पूरा करने के बाद यह अनिवार्य सेवा नहीं करना चाहता है, तो उसका बांड राशि जब्त कर ली जाएगी।
सेवा की शर्तें:
- अवधि: 1 वर्ष (कोर्स पूरा होने और इंटर्नशिप के बाद)
- पदनाम: एमबीबीएस छात्र जूनियर रेज़िडेंट (JR) और पीजी छात्र सीनियर रेज़िडेंट (SR) के रूप में काम करेंगे।
- मानदेय: सेवा अवधि के दौरान छात्रों को सरकारी मानदंडों के अनुसार वेतन मिलेगा। सुपर-स्पेशलिटी छात्रों को अतिरिक्त वेतन लाभ भी मिल सकता है।
- नियुक्ति स्थल: छात्रों को GNCTD के अंतर्गत किसी भी सरकारी अस्पताल या सोसाइटी अस्पताल में नियुक्त किया जा सकता है।
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यह बांड नीति निम्नलिखित मेडिकल संस्थानों में लागू होगी:
- वर्धमान महावीर मेडिकल कॉलेज एवं सफदरजंग अस्पताल (VMMC & SJH)
- अटल बिहारी वाजपेयी आयुर्विज्ञान संस्थान एवं डॉ. राम मनोहर लोहिया अस्पताल (ABVIMS & RML)
- ईएसआई-पीजीआईएमएसआर, बसईदारापुर
- ईएसआईसी डेंटल कॉलेज एवं अस्पताल, रोहिणी
- आर्मी कॉलेज ऑफ मेडिकल साइंसेज़ (ACMS), दिल्ली कैंट
- डॉ. बाबा साहेब अंबेडकर मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल
- चाचा नेहरू बाल चिकित्सालय (CNBC), गीता कॉलोनी
- हिंदू राव अस्पताल एवं उत्तरी दिल्ली नगर निगम मेडिकल कॉलेज
विशेष समिति का गठन:
मौलाना आज़ाद मेडिकल कॉलेज (MAMC) के डीन की अध्यक्षता में एक समिति बनाई गई है जो यह तय करेगी कि कितने जूनियर/सीनियर रेज़िडेंट्स की आवश्यकता है और यदि आवश्यक हुआ तो अतिरिक्त पद सृजित किए जाएंगे।
GGSIPU अस्थायी प्रावधान:
जो छात्र इस नीति के लागू होने से पहले स्नातक हो रहे हैं, उन्हें स्वैच्छिक रूप से GNCTD अस्पतालों में JR/SR पदों पर काम करने का विकल्प दिया जाएगा, जिसमें उन्हें समान वेतनमान मिलेगा।
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